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हाथरस : दून पब्लिक स्कूल, हाथरस ने शिक्षा के क्षेत्र में एक और बड़ी उपलब्धि हासिल की है। विद्यालय को “ब्रिटिश काउंसिल, नई दिल्ली” से अंतरराष्ट्रीय आयामों वाले प्रोजेक्ट्स की अनुमति मिल गई है। यह अनुमति 2 अगस्त 2025 को मिली, जिसके साथ ही विद्यालय में इस परियोजना की शुरुआत की गई।
विद्यालय के प्रधानाचार्य जे.के. अग्रवाल ने बताया कि यह उपलब्धि शिक्षकों और विद्यार्थियों की मेहनत व समर्पण का परिणाम है। ब्रिटिश काउंसिल एक अंतरराष्ट्रीय संगठन है जो ब्रिटिश दूतावास, नई दिल्ली के साथ मिलकर दुनिया के विभिन्न देशों के स्कूलों के बीच सांस्कृतिक और शैक्षणिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देता है।
दून पब्लिक स्कूल ने रिड्स (Recognition in Developing International Dimension in Schools) परियोजना में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया। इसके परिणामस्वरूप असेसर ग्रेस नॉर्नोहा द्वारा विद्यालय को आगे के एक्शन प्लान और गतिविधियों के लिए स्वीकृति मेल प्राप्त हुआ, जो विद्यालय के लिए गर्व की बात है।
इस परियोजना के तहत विद्यालय में वर्षभर सात प्रमुख अंतरराष्ट्रीय गतिविधियां आयोजित की जाएंगी, जिनमें शामिल हैं –
1. मेलोडी विदाउट बॉर्डर – भारत, जापान, फ्रांस और अमेरिका की कविताएं।
2. ग्लोबल लाइट्स – भारत, इजरायल, चीन और सिंगापुर के त्योहारों की झलक।
3. यूनाइटेड थ्रू हेरिटेज – भारत, मिस्र, फ्रांस और इटली की धरोहर यात्रा।
4. रूट्स टू राइट्स – भारत, स्वीडन, फिनलैंड और केन्या में लैंगिक समानता।
5. कल्चरल प्लेग्राउंड – भारत, केन्या, नाइजीरिया और सिंगापुर के पारंपरिक खेल।
6. ब्रश एंड बियोंड – भारत, जापान, अमेरिका और नाइजीरिया की कला यात्रा।
7. यूनाइटेड वी स्टैंड – डिवाइडेड वी फॉल – भारत, पाकिस्तान, रूस, यूक्रेन और युगांडा में राष्ट्रीय एकता का अध्ययन।
पहली गतिविधि “मेलोडी विदाउट बॉर्डर” 2 अगस्त से 15 अगस्त 2025 तक आयोजित हुई। इसमें नर्सरी से यूकेजी तक के बच्चों ने भारत, जापान, फ्रांस और अमेरिका की कविताओं के जरिए वहां की भाषा और संस्कृति सीखी। कविताओं में लकड़ी की काठी (भारत), इटसी-बिटसी (अमेरिका), फेरे जेकिंस (फ्रांस) और उसागी-उसागी (जापान) शामिल थीं। साथ ही बच्चों ने संबंधित देशों के झंडों में रंग भरने और खिलौनों के जरिए सीखने जैसी गतिविधियों में हिस्सा लिया।
इस परियोजना का उद्देश्य शिक्षा, कला, संस्कृति और भाषाओं के आदान-प्रदान को बढ़ावा देना है। कार्यक्रम के सफल संचालन में प्रभारी समन्वयक रीटा शर्मा और नम्रता अग्रवाल, शिक्षिकाएं मोनिका, तनु शर्मा, कामिनी सिंह, दिव्यांशी वार्ष्णेय, विधि शर्मा और गरिमा राठी का योगदान सराहनीय रहा।
प्रधानाचार्य जे.के. अग्रवाल ने इस उपलब्धि पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि यह विद्यालय के लिए गर्व का क्षण है और इससे विद्यार्थियों को अंतरराष्ट्रीय दृष्टिकोण के साथ आगे बढ़ने का अवसर मिलेगा।
INPUT – BUREAU REPORT